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एनएचएआई ने कोच्चि में क्षेत्रीय सम्मेलन के साथ ‘आजादी का अमृत महोत्सव’ मनाया

देश-विदेश

‘आजादी का अमृत महोत्सव’ मनाते हुए एनएचएआई की अध्यक्ष, श्रीमती अलका उपाध्याय ने कोच्चि, केरल में क्षेत्रीय अधिकारियों के लिए दो दिवसीय सम्मेलन का उद्घाटन किया। यह अपने आप में पहला पहल है जहां पर केरल, कर्नाटक, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु के एनएचएआई अधिकारियों और क्षेत्रीय हितधारकों को अपना ज्ञान, उपलब्धि और चुनौती को साझा करने के लिए एक समान मंच प्रदान किया जा रहा है।

इस सम्मेलन में परियोजना की समीक्षा करने के अलावा, एनएचएआई अध्यक्ष के साथ क्षेत्रीय अधिकारियों और परियोजना निदेशकों द्वारा मुक्त-प्रवाह चर्चा करने के लिए एक ‘ओपन हाउस’ का आयोजन किया गया। ‘सस्टेनेबिलिटी इन कंस्ट्रक्शन – बिल्डिंग बेटर रोड्स’ पर जानकारी प्रदान करने के लिए एक सत्र का भी आयोजन किया गया।

एनएचएआई की अध्यक्ष श्रीमती उपाध्याय ने अपने विशेष संबोधन में एनएचएआई द्वारा आजादी का अमृत महोत्सव कार्यक्रम के अंतर्गत की जा रही विभिन्न पहलों पर जानकारी को साझा किया, जिसमें राष्ट्रीय राजमार्गों के पास ‘अमृत सरोवर’ या तालाबों का निर्माण शामिल है, जो जल निकायों और भूजल का कायाकल्प करने में मदद करेंगे। उन्होंने पारिस्थितिक रूप से चिरस्थायी अवसंरचना का निर्माण करने के लिए नए तरीकों का उपयोग करने पर भी बल दिया और सड़क सुरक्षा से संबंधित पहलुओं पर प्रकाश डाला, लास्ट माइल कनेक्टिविटी को मजबूत किया और राजमार्ग कम्यूटर के समग्र अनुभव को बढ़ावा दिया।

एनएचएआई द्वारा 34,800 किमी राष्ट्रीय राजमार्ग गलियारों का विकास करने के साथ भारत की सबसे बड़ी राजमार्ग अवसंरचना कार्यक्रम भारतमाला परियोजना का कार्यान्वयन भी किया जा रहा है, जिसमें एनएचएआई द्वारा 31,621 किमी लंबाई की परियोजनाओं का कार्यान्वयन लागू किया जा चुका है। 22 ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे और एक्सेस-नियंत्रित कॉरिडोर  भारतमाला परियोजना का एक हिस्सा है, जिसकी लंबाई 8,400 किमी और पूंजीगत लागत 3.6 लाख करोड़ रूपया है। अब तक, एनएचएआई द्वारा 20,473 किमी, जिसकी लागत 644,678 करोड़ रुपये है और इसकी लंबाई लगभग 65 प्रतिशत है, का काम पूरा किया जा चुका है।

भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण भारत की सड़क अवसंरचना को बढ़ावा देने के लिए राष्ट्रीय राजमार्गों का विस्तार कर रहा है। केरल में अब तक एनएचएआई द्वारा 177 किमी सड़क नेटवर्क का निर्माण पूरा किया जा चुका है और 34,972 करोड़ रुपये की लागत वाली अन्य 403 किमी सड़क परियोजना का निर्माण कार्य चल रहा है। इसके अलावा, एनएचएआई द्वारा आने वाले कुछ माह में 21,271 करोड़ रुपये की लगभग 187 किलोमीटर लंबाई की छह परियोजनाओं की शुरूआत करने की तैयारी की जा रही है। इनके अलावा, नई परियोजनाएं प्रस्तावित की गई है जिनमें 120 किमी लंबी पलक्कड़-मलप्पुरम-कोझिकोड ग्रीनफील्ड राजमार्ग, 59 किमी लंबी शेनकोट्टई-कोल्लम ग्रीनफील्ड राजमार्ग और अलाप्पुझा जिले में थुरावूर से अरूर के बीच 12.34 किमी लंबी एलिवेटेड राजमार्ग शामिल है। इन सभी परियोजनाओं से न केवल राज्य में कनेक्टिविटी का सुधार होगा, बल्कि अर्थव्यवस्था को भी बढ़ावा मिलेगा।

एनएचएआई न केवल वैश्विक स्तर के राष्ट्रीय राजमार्गों का निर्माण कर रहा है, बल्कि दुर्घटना मुक्त राष्ट्रीय राजमार्गों का निर्माण करने पर भी ध्यान केंद्रित कर रहा है। एनएचएआई केरल सरकार के पुलिस विभाग के साथ मिलकर निर्माण में ब्लैक स्पॉट (उच्च दुर्घटना स्थल) की पहचान कर रहा है और वर्तमान समय में 214 ब्लैक स्पॉट की पहचान की जा चुकी है। इन सभी स्थानों पर अल्पकालिक उपाय पूरे किए जा चुके हैं। 156 ब्लैकस्पॉट स्थलों पर फुट-ओवर ब्रिजों का निर्माण या सड़कों को चौड़ा करने जैसे दीर्घकालिक उपायों को कार्यान्वित किया जा रहा है।

राजमार्गों के अलावा, एनएचएआई समग्र और एकीकृत अवसंरचना का विकास करने पर भी अपना ध्यान केंद्रित कर रहा है। ‘पीएम गति शक्ति’ जैसी पहल – मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी के लिए राष्ट्रीय मास्टर प्लान। देश की संभार तंत्र अवसंरचना को सुदृढ़ करने के लिए, भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण द्वारा राष्ट्रीय राजमार्ग लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट लिमिटेड (एनएचएलएमएल), एनएचएआई के 100% स्वामित्व वाले एसपीवी के माध्यम से 35 मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क (एमएमएलपी) विकसित किए जा रहे हैं।  ‘पीएम गति शक्ति’ – मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी के लिए राष्ट्रीय मास्टर प्लान, देश की लॉजिस्टिक अवसंरचना को मजबूती प्रदान करने के लिए, एनएचएआई द्वारा राष्ट्रीय राजमार्ग लॉजिस्टिक्स मैनेजमेंट लिमिटेड (एनएचएलएमएल), एनएचएआई के शतप्रतिशत स्वामित्व वाले एसपीवी के माध्यम से 35 मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क (एमएमएलपी) विकसित किए जा रहे हैं।

एनएचएआई द्वारा राज्य सरकारों और अन्य हितधारकों के साथ मिलकर पर्वतमाला, राष्ट्रीय रोपवे विकास कार्यक्रम को लागू करने के लिए सक्रिय रूप से काम किया जा रहा है, जो लास्ट माइल कनेक्टिविटी को सुविधाजनक बनाने और पहाड़ी क्षेत्रों में पर्यटन और परिवहन का विकास करने के लिए रोपवे को विकसित करने की परिकल्पना करता है।

एनएचएआई राष्ट्रीय राजमार्ग अवसंरचना का तीव्र गति से विकास करने और राष्ट्रीय राजमार्गों पर सुरक्षित, सुचारू और निर्बाध यात्रा प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है।

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