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केन्द्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान रहमानखेड़ा में 39वां स्थापना दिवस मनाया गया

उत्तर प्रदेश

लखनऊ: प्रदेश के उद्यान, कृषि विपणन, कृषि विदेश व्यापार तथा कृषि निर्यात राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) श्री दिनेश प्रताप सिंह आज रहमानखेड़ा स्थित केन्द्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान के 39वां स्थापना दिवस के अवसर पर प्रौद्योगिकी संग्रहालय का शुभारम्भ किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि संग्रहालय से किसानों को अच्छी फसल के लिए नवीनतम जानकारी दी जायेगी, ताकि वे अपने उत्पाद को बढ़ाकर अपनी आय में वृद्धि कर सकें।
इस अवसर पर प्रदेश के उद्यान मंत्री ने संस्थान के “प्रौद्योगिकी संग्रहालय” का उद्घाटन करते हुए कहा कि संस्थान द्वारा विकसित प्रौद्योगिकियों की सराहना की। उन्होंने कहा कि इन प्रौद्योगिकियों को सरल हिन्दी भाषा छपवाकर प्रसार पत्र या फोल्डर को ग्राम प्रधानों के माध्यम से जन-जन तक पहुंचाने का आह्वान किया। उन्होंने  संस्थान द्वारा जैविक खेती और प्राकृतिक खेती के क्षेत्र में विकसित तकनीकों, फलों की नई नई क़िस्मों, सुधार तकनीक, उपेक्षित फलों और अन्य कार्यों/उपलब्धियों की भूरि भूरि प्रशंसा की।
मलिहाबाद क्षेत्र की विधायक श्रीमती जय देवी कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहीं। इस अवसर पर विधायक श्रीमती जय देवी ने अनुसूचित जाति परियोजना के लाभार्थियों को किट का वितरण किया। इस किट में किसानों को 1 आम तोड़क यंत्र, शूक्ष्म पोषक तत्व मिश्रण और जैव उत्प्रेरक दिया गया।
केन्द्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान रहमानखेड़ा ने आज अपना 39वां स्थापना दिवस धूमधाम से मनाया। इस अवसर पर “आम का तुड़ाई उपरांत प्रबंधन” विषय पर एक किसान गोष्ठी का भी आयोजन किया गया।
संस्थान की कार्यकारी निदेशक डा नीलिमा गर्ग ने संस्थान के विकास यात्रा की उपलब्धियों की चर्चा करते हुए संस्थान द्वारा आम, अमरूद, बेल, जामुन आदि फलों की नवीनतम क़िस्मों, फल उत्पादन, सुरक्षा और तुड़ाई उपरांत प्रबंधन और परीक्षण द्वारा विकसित विभिन्न मूल्य संवर्द्धित उत्पादों की चर्चा की। उन्होंने बताया कि आज का संस्थान 04 सितंबर 1972 को एक आम अनुसंधान केंद्र के रूप में प्रारम्भ किया गया था। जिसे 1 जून 1984 को एक पूर्ण संस्थान का दर्जा मिला। प्रारम्भ में यहाँ केवल आम पर शोध होता था। लेकिन आजकल आम, अमरूद, आंवला, बेल, जामुन के साथ अन्य उपक्षित फलों और सब्जियों पर भी शोध हो रहा है।
इस अवसर पर बोलते हुए संस्थान के प्रधान वैज्ञानिक डा पी एल सरोज ने संस्थान के प्रौद्योगिकी संग्रहालय के बारे में विस्तृत चर्चा की। इस संग्रहालय में संस्थान की सभी तकनीकों को विभिन्न विधियों/मॉडल/प्रदर्श द्वारा प्रदर्शित किया गया है। संस्थान द्वारा शहरों में फलों की कंटेनर में खेती एवं सब्जियों की ऊर्ध्वाधर खेती हेतु विभिन्न मॉडल विकसित किए गए हैं। जोकि विक्री के लिए भी उपलब्ध हैं।
इस अवसर पर किसान गोष्ठी में राज्य कृषि प्रबंध संस्थान के निदेशक डा पंकज त्रिपाठी, डा विशाल नाथ, डा अनिल वर्मा ने विविध विषयों पर किसानों को संबोधित किया। कार्यक्रम में संस्थान के वैज्ञानिकों, कर्मचारियों के अलावा क्षेत्र के लगभग 100 किसानों ने भाग लिया। कार्यक्रम का संचालन डा अंजू बाजपेई ने किया। कार्यक्रम के अंत में धन्यवाद ज्ञापन डा देवेंद्र पाण्डेय द्वारा दिया गया।

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