अमिताभ ने लिखा, “कौन सा प्रतिशोध और जानकारी मैं चाहूंगा? क्या यह उन दुखों और मानसिक यातनाओं को दूर कर सकेगा, जिससे हम वर्षो तक गुजरे हैं. क्या हमारा इलाज कर सकेगा.. क्या यह हमें आराम दे पाएगा? नहीं, यह नहीं होगा… तो मैंने मीडिया से कहा कि मैं इस पर कोई टिप्पणी नहीं करना चाहता… यह मामला मेरे लिए खत्म हो गया है.”

अमिताभ ने पनामा पेपर्स मामले पर लिखा, “हमसे प्रतिक्रिया मांगी गई… इन आरोपों का खंडन करने और नाम का गलत इस्तेमाल करने के कारण हमारी तरफ से दो बार जवाब दिया गया. उन्हें छापा भी गया, लेकिन सवाल बरकार रहे.” अमिताभ ने आगे लिखा, “एक जिम्मेदार नागरिक के रूप में हमने हमेशा पूरा सहयोग किया और इसके बाद भी अगर और जांच होगी तो हम पूरा सहयोग करेंगे.” अमिताभ बच्चन ने ब्लॉग का अंत यहूदियों के एक चुटकुले से किया है.

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