देहरादून: ऋषिकुल मैदान में मुख्यमत्री हरीश रावत ने कहा कि बाबा साहब अम्बेडकर के सपनो को भारत और संत रविदास के समतामूलक समाज की स्थापना का लक्ष्य हमंे पूर्ण करना है। अखिल भारतीय रविदासीय धर्म संगठन भारत द्वारा आयोजित महासम्मेलन कार्यक्रम में भाग लेते हुये मुख्यमत्री हरीश रावत ने कहा कि हमें बहुत कुछ करना है। हजारोे वर्ष शोषण के विरूद्व लडना हैैै। भारत की आजादी के दिन पहले प्रधानमंत्री नेहरू ने कहा कि दासता से हमे मुक्ति मिल गयी है इस के साथ छुआछुत की बुराईयों से भी मुक्ति मिल गयी है। मुख्यमत्री ने कहा कि रविदास मंदिर हर की पैडी पर भभ्य पूर्वक निर्माण कराया जायेगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि नवम्बर तक सभी विभागो में बैकलाक के कार्य पूर्ण कर लिए जायेगें। सवेधानिक आरक्षण की स्थिति लागू रहेगी। राज्य अधिनस्थ चयन आयोग के तीन सदस्यों मेे से तीन दलित है। हमें चैकिदार बनकर अम्बेडकर के सवींधान की रक्षा करना है।
नगर निगम टाउनहाल में विश्वकर्मा धीमान समाज द्वारा आयोजित सम्मेलन में मुख्यमत्री हरीश रावत ने कहा कि देश मंे शिल्पी समाज के हितो के लिए शिल्पकार पेंशन लगाने वाला पहला राज्य हमारा राज्य है। उन्होने कहा कि राज्य स्थापना पर शिल्पी शिल्प रत्न पुरूस्कार दिया जायेगा। उन्होने कहा कि किसी राज्य का विकास शिक्षा कृषि और शिल्प से सभव है इसलिए शिल्पी समाज का सम्मान करना होगा। उन्होन कहा शीघ्र ही एक पुल का नामकरण विश्वकर्मा जी के नाम पर होगा।
इस अवसर पर जिला पंचायत उपाध्यक्ष रावअफाक, सतपाल ब्रहमचारी, पुरूषोत्तम शर्मा, मेयर मनोज गर्ग,सहित अनेक गणमान्य तथा जिलाधिकारी एवं एस.एस.पी उपस्थित थे।
